संधि सामान्य MCQ Quiz - Objective Question with Answer for संधि सामान्य - Download Free PDF
Last updated on Jun 30, 2025
Latest संधि सामान्य MCQ Objective Questions
संधि सामान्य Question 1:
‘पवन’ का संधि विच्छेद है:
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 1 Detailed Solution
सही विकल्प 1 ‘पो + अन’ सही है।
Key Points
- 'पवन' में अयादि संधि है। पो + अन = पवन (ओ + अ = अव), यहाँ 'ओ' और 'अ' के मेल से 'अव' बना है।
- जब संधि करते समय ए , ऐ , ओ , औ के साथ कोई अन्य स्वर हो तो (ए का अय), (ऐ का आय), (ओ का अव), (औ – आव) बन जाता है। यही अयादि संधि कहलाती है।
Additional Information
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3. विसर्ग, |
||
संधि |
परिभाषा |
उदाहरण |
स्वर |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी महा + ईश = महेश |
व्यंजन |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा निः + कपट =निष्कपट |
संधि सामान्य Question 2:
नीचे दिए गए शब्द का सही संधि-विच्छेद वाला विकल्प पहचानिए?
मुनीश
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 2 Detailed Solution
सही उत्तर मुनि + ईश है।
Key Points
- मुनि + ईश= मुनीश
- (इ = ई = ई)
- मुनीश शब्द में दीर्घ संधि है।
- दीर्घ संधि की परिभाषा- जब ( अ, आ ) के साथ ( अ, आ ) हो तो ‘ आ ‘ बनता है, जब ( इ, ई ) के साथ ( इ, ई ) हो तो ‘ ई ‘ बनता है, जब ( उ, ऊ ) के साथ ( उ, ऊ ) हो तो ‘ ऊ ‘ बनता है।
- उदाहरण- अ + आ= आ, पुस्तक + आलय = पुस्तकालय, इ + ई= ई, मुनि + ईश =मुनीश
Additional Information
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3. विसर्ग, |
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संधि |
परिभाषा |
उदाहरण |
स्वर |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी महा + ईश = महेश |
व्यंजन |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा निः + कपट =निष्कपट |
संधि सामान्य Question 3:
निम्नलिखित में से कौन-सा शब्द 'अ' + 'ए' का उदाहरण नहीं है?
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 3 Detailed Solution
इसका सही उत्तर 'महेंद्र' है।
Key Points
- "महा + इंद्र = महेंद्र (आ + इ = ए)' में गुण संधि है।
गुण संधि |
गुण संधि स्वर संधि का एक भेद अथवा प्रकार है। जब संधि करते समय (अ, आ) के साथ (इ, ई) हो तो 'ए' बनता है, जब (अ, आ) के साथ (उ, ऊ) हो तो 'ओ' बनता है, जब (अ, आ) के साथ (ऋ) हो तो 'अर' बनता है तो यह गुण संधि कहलाती है। |
अन्य विकल्प -
शब्द |
संधि विच्छेद |
संधि नियम व प्रकार |
मतैक्य |
मत + ऐक्य |
अ + ऐ= ऐ (वृद्धि संधि) |
तथैव |
तथा + एव |
आ + ए = ऐ (वृद्धि संधि) |
तत्रैव |
तत्र + एव |
अ + ए = ऐ (वृद्धि संधि) |
Additional Information
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3. विसर्ग, |
||
संधि |
परिभाषा |
उदाहरण |
स्वर |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी महा + ईश = महेश |
व्यंजन |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा निः + कपट =निष्कपट |
संधि सामान्य Question 4:
सुमेलित कीजिए :
(क) |
महौदार्य |
(i) |
गुण संधि |
(ख) |
प्रत्युपकार |
(ii) |
दीर्घ संधि |
(ग) |
समुद्रोर्मि |
(iii) |
वृद्धि संधि |
(घ) |
महीन्द्र |
(iv) |
यण संधि |
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 4 Detailed Solution
सही उत्तर है - (क) - (iii), (ख) - (iv), (ग) - (i), (घ) - (ii)
Key Points
(क) | महौदार्य | (iii) | वृद्धि संधि | महा + औदार्य (आ + औ = औ) |
(ख) | प्रत्युपकार | (iv) | यण संधि | प्रति + उपकार (इ + उ= यु) |
(ग) | समुद्रोर्मि | (i) | गुण संधि | समुद्र + ऊर्मि (अ + ऊ = ओ) |
(घ) | महीन्द्र | (ii) | दीर्घ संधि | मही + इंद्र (ई + इ = ई) |
Additional Information
वृद्धि संधि:-
उदाहरण-
यण संधि:-
उदाहरण-
गुण संधि:-
उदाहरण-
दीर्घ संधि:-
उदाहरण-
|
संधि सामान्य Question 5:
सूची I के साथ सूची II का मिलान कीजिए।
सूची - I | सूची - II | ||
A. | कवि + ईश्वर | I | कवींद्र |
B. | कवि + इन्द्र | II. | शिवालय |
C. | वेद + अंत | III. | कवीश्वर |
D. | शिव + आलय | IV. | वेदांत |
नीचे दिए गए विकल्पों में से सही उत्तर का चयन कीजिए:
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 5 Detailed Solution
दिए गए विक्पो में से A - III, B - I, C - IV, D - II सही उत्तर है।
Key Points
कवि + ईश्वर = कवीश्वर, (इ+ई =ई) |
कवि + इन्द्र = कवींद्र, (इ + इ= ई) |
वेद + अंत = वेदांत, (अ + अ = आ) |
शिव + आलय = शिवालय, ( अ + आ = आ) |
- इन सभी में दीर्घ संधि है, जो स्वर संधि का एक प्रकार है।
- दीर्घ संधि में दो स्वर्ण स्वर मिलकर दीर्घ हो जाते हैं।
Additional Information
- दो वर्णों के मेल से होने वाले विकार को संधि कहते हैं।
- दो शब्दों के मेल से बने शब्द को पुनः अलग अलग करने को संधि विच्छेद कहते हैं।
संधि के तीन प्रकार होते हैं-
संधि | परिभाषा | उदाहरण |
स्वर संधि | जब स्वर के साथ स्वर का मेल होता है तब जो परिवर्तन होता है वह स्वर संधि कहलाता है। |
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व्यंजन संधि | व्यंजन वर्ण के साथ स्वर वर्ण या व्यंजन वर्ण अथवा स्वर वर्ण के साथ व्यंजन वर्ण के मेल से जो विकार उत्पन हो, उसे ‘व्यंजन संधि’ कहते हैं। |
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विसर्ग संधि | जब विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन आ जाए तब जो परिवर्तन होता है ,वह विसर्ग संधि कहलाता है। |
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Top संधि सामान्य MCQ Objective Questions
'स्वार्थ' में निम्नलिखित में से कौन-सी संधि है?
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 6 Detailed Solution
Download Solution PDFसही उत्तर दीर्घ है।
Key Points
- ‘यण’, ‘वृद्धि’, ‘गुण’ आदि विकल्प अशुद्ध हैं क्योंकि स्वार्थ शब्द दीर्घ संधि है।
- स्व + अर्थ - स्वार्थ
- नियम- अ + अ = आ
अन्य विकल्प-
- यण संधि - अति + अधिक : अत्यधिक (इ + अ = य)
- वृद्धि संधि - महा + ओजस्वी : महौजस्वी (आ + ओ = औ)
- गुण संधि - जीर्ण + उद्धार : जीर्णोद्वार (अ + उ = ओ)
निम्नलिखित प्रश्न में, चार विकल्पों में से उस विकल्प का चयन करें जो सही संधि-विच्छेद वाला विकल्प है।
उल्लास
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 7 Detailed Solution
Download Solution PDFसही उत्तर 'उत् + लास' है।
Key Points
- उत् + लास = उल्लास (त् + ल = ल्ल)
- 'उल्लास' शब्द में व्यंजन संधि है।
Additional Information
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3. विसर्ग, |
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संधि |
परिभाषा |
उदाहरण |
स्वर |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी महा + ईश = महेश |
व्यंजन |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा निः + कपट =निष्कपट |
दिए गए शब्द “चोर” का वर्ण विच्छेद करें -
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 8 Detailed Solution
Download Solution PDFदिए गए शब्द चोर का सही वर्ण विच्छेद होगा च् + ओ + र् + अ। अत: च् + ओ + र् + अ सही उत्तर है।
Key Points
- वर्ण-विच्छेद अर्थात वर्णों को अलग-अलग करना।
- किसी शब्द (वर्णों का समूह ) को अलग-अलग करके लिखने की प्रक्रिया को वर्ण विच्छेद कहते हैं।
- वर्ण-विच्छेद करते समय हमें स्वरों की मात्राओं को पहचानना पड़ता है और
- उस मात्रा के स्थान पर उस स्वर (अ, आ, इ, ई आदि) को प्रयोग में लाया जाता है जिसकी वह मात्रा होती है।
- उदाहरण - निधि शब्द का वर्ण विच्छेद होगा - न् + इ + ध् + इ
“विद्यार्थी” का सही संधि-विच्छेद है-
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 9 Detailed Solution
Download Solution PDF“विद्यार्थी” का संधि विच्छेद विद्या + अर्थी होगा। शेष विकल्प त्रुटिपूर्ण हैं। अतः सही विकल्प 2 विद्या + अर्थी है।
Key Points
- “विद्यार्थी” का सही संधि विच्छेद विद्या + अर्थी (आ + अ = आ) है।
- इसमें दीर्घ स्वर संधि है। इस संधि को हम ह्रस्व संधि भी कह सकते हैं।
- जब दो शब्दों की संधि करते समय (अ, आ) के साथ (अ, आ) हो तो ‘आ‘ बनता है, जब (इ, ई) के साथ (इ, ई) हो तो ‘ई‘ बनता है, जब (उ, ऊ) के साथ (उ, ऊ) हो तो ‘ऊ‘ बनता है।
- जैसे: पुस्तक + आलय : पुस्तकालय बनता है। यहाँ अ+आ मिलकर आ बनाते हैं।
Additional Information
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3.विसर्ग, |
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संधि |
परिभाषा |
उदाहरण |
स्वर |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी महा + ईश = महेश |
व्यंजन |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा निः + कपट =निष्कपट |
सन्धि कितने प्रकार की होती है?
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 10 Detailed Solution
Download Solution PDFसंधि 'तीन' प्रकार की होती है - स्वर, व्यंजन, विसर्ग। शेष विकल्प त्रुटिपूर्ण हैं। अतः सही विकल्प 'तीन' है।
संधि - दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं। |
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स्वर संधि |
स्वर वर्ण के साथ स्वर वर्ण के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी, महा + ईश = महेश |
व्यंजन संधि |
एक व्यंजन से दूसरे व्यंजन या स्वर के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
अहम् + कार = अहंकार, उत् + लास = उल्लास |
विसर्ग संधि |
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के मेल से विकार उत्पन्न होता है। |
दुः + आत्मा =दुरात्मा, निः + कपट =निष्कपट |
प्रौढ़ शब्द का सन्धि विच्छेद एवं सन्धि का नाम है
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 11 Detailed Solution
Download Solution PDF' प्रौढ़ ' गुण संधि है।
- प्र + ऊढ़ (गुण)
- गुण संधि में दो भिन्न स्वरों की संधि होती है और इसके परिणामस्वरूप एक नवीन स्वर का निर्माण होता है।
- जैसे- आ + उ = ओ, अ + ऊ =औ।
- प्रौढ़ का संधि विच्छेद ' प्र + ऊढ़ ' होगा।
Mistake Points
- प्र + ऊढ़ (गुण) - ये उदाहरण गुण संधि का एक अपवाद है जिसमे अ + ऊ = औ हो जाता है।
- औ होने की वजह से इसे वृद्धि संधि नहीं कह सकते क्यों की इसके जुड़ने वाले दो वर्ण अ और ऊ गुण संधि के नियम का ही पालन करते है और प्रोढ़ शब्द सही अर्थ नहीं देता इसलिए ये प्रौढ़ हो जाता है।
Additional Information
दीर्घ संधि |
जब दो समान स्वर या सवर्ण मिल जाते हैँ, चाहे वे ह्रस्व होँ या दीर्घ, या एक ह्रस्व हो और दूसरा दीर्घ, तो उनके स्थान पर एक दीर्घ स्वर हो जाता है, इसी को सवर्ण दीर्घ स्वर संधि कहते हैं। |
आत्मा + आनंद = आत्मानंद |
गुण संधि |
जब संधि करते समय (अ, आ) के साथ इ, ई) हो तो तो ‘ए’ बनता है, जब (अ, आ) के साथ (उ, ऊ) हो तो ‘ओ’ बनता है, जब (अ, आ) के साथ (ऋ) हो तो ‘अर्’ बनता है तो यह गुण संधि कहलाती है। |
महा + ईश = महेश (आ +ई = ए)
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वृद्धि संधि |
अ या आ के बाद यदि ए, ऐ होँ तो इनके स्थान पर ‘ऐ’ तथा अ, आ के बाद ओ, औ होँ तो इनके स्थान पर ‘औ’ हो जाता है। ‘ऐ’ तथा ‘औ’ स्वर ‘वृद्धि स्वर’ कहलाते हैँ अतः इस संधि को वृद्धि संधि कहते हैं। |
परम + ओज = परमौज |
यण संधि |
जब हृस्व इ, उ, ऋ या दीर्घ ई, ऊ, ॠ के बाद कोई असमान स्वर आये, तो इ, ई के स्थान पर ‘य्’ तथा उ, ऊ के स्थान पर ‘व्’ और ऋ, ॠ के स्थान पर ‘र्’ हो जाता है। इसे यण् संधि कहते हैं। |
यदि + अपि = यद्यपि |
अयादि संधि |
ए, ऐ, ओ, औ के बाद यदि कोई असमान स्वर हो, तो ‘ए’ का ‘अय्’, ‘ऐ’ का ‘आय्’, ‘ओ’ का ‘अव्’ तथा ‘औ’ का ‘आव्’ हो जाता है। इसे अयादि संधि कहते हैं। |
शे + अन = शयन |
‘सदानन्द’ का सन्धि विच्छेद कीजिए।
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 12 Detailed Solution
Download Solution PDF‘सदानन्द’ का सन्धि विच्छेद 'सत् + आनन्द' है तथा इसमें व्यंजन संधि हैं। शेष विकल्प निरर्थक है। अतः सही विकल्प 'सत् + आनन्द' है।
स्पष्टीकरण
- यदि प्रथम वर्ण + घोष वर्ण पंचम वर्ण को छोड़कर आये तो प्रथम वर्ण अपने वर्ग के तृतीय वर्ण में रूपांतरित हो जाएगा। जैसे – वाक् + दान = वाग्दान, उत् + अय = उदय।
- व्यंजन संधि के नियम के अनुसार किसी भी वर्ग का पहला वर्ण (क, च, त आदि) + घोष वर्ण (तीसरा या चौथा वर्ण, स्वर तथा अन्तस्थ (य, र, ल, व) ) आये तो पहला वर्ण अपने वर्ग के तीसरे वर्ण में रूपांतरित हो जाता है।
विशेष
अघोष |
घोष |
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प्रथम |
द्वितीय |
तृतीय |
चतुर्थ |
पंचम |
स्वर |
क |
ख |
ग |
घ |
ङ |
अ आ |
च |
छ |
ज |
झ |
ञ |
इ ई |
ट |
ठ |
ड |
ढ |
ण |
उ ऊ |
त |
थ |
द |
ध |
न |
ऋ |
प |
फ |
ब |
भ |
म |
ए ऐ |
श ष स |
य र ल व ह |
ओ औ |
|||
* अघोष/घोष + घोष – किसी घोष में बदलेंगे |
|||||
* अघोष/घोष + अघोष – किसी अघोष में बदलेंगे |
किस विकल्प के शब्द का संधि-विच्छेद असंगत है?
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 13 Detailed Solution
Download Solution PDF'अन्येतर' शब्द का संधि-विच्छेद असंगत है।
Key Points
- 'अन्येतर' का सही संधि विच्छेद होगा-अन्य+इतर।
- यह गुण संधि का उदाहरण है।
- गुण संधि-यदि अ/आ के बाद इ/ई,उ/ऊ और ऋ आए तो दोनों मिलकर क्रमशः ए,ओ और अर् हो जाता है।
Important Points
- 'पित्राज्ञा' में यण संधि का प्रयोग किया गया है।
- 'अभीप्सा' और 'स्नेहाविष्ठ' में दीर्घ संधि का प्रयोग किया गया है।
Additional Information
- संधि शब्द का अर्थ-मेल या जोड़।
- दीर्घसन्धि-यदि अ,आ,इ,ई,उ,ऊ और ऋ के बाद वे ही ह्रस्व या दीर्घ स्वर आये, तो दोनों मिलकर क्रमशः आ,ई,ऊ और ऋ हो जाते है।
- यणसन्धि-जहाँ पर इ,उ,ऋ के बाद कोई भिन्न स्वर आये तो क्रमशः इ का य्,उ का व् तथा ऋ का र हो जाता हो,वहाँ यण संधि होती है।
स्वर संधि कितने प्रकार की होती है?
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 14 Detailed Solution
Download Solution PDF- स्वर संधि 'पांच प्रकार' की होती है। अतः 'पांच' सही विकल्प होगा,अन्य सभी विकल्प संगत है।
-
संधि की परिभाषा: दो समीप होने वाले वर्णों के मेल से जो परिवर्तन होता है,उसे 'संधि' कहते है।
- जैसे: देव + आलय = देवालय।
- रजनी + ईश=रजनीश।
Additional Information
स्वर संधि के पांच भेद है ।
दीर्घ संधि | ह्रस्व या दीर्घ 'अ', 'इ', 'उ', के पश्चात क्रमशः ह्रस्व या दीर्घ 'अ', 'इ', 'उ' स्वर आये तो दोनों को मिलाकर दीर्घ 'आ', 'ई', 'ऊ' हो जाते है। |
धर्म + अर्थ =धर्मार्थ |
गुण संधि | यदि 'अ' और 'आ' के बाद 'इ' या 'ई', 'उ' या 'ऊ' और 'ऋ' स्वर आये तो दोनों के मिलने से क्रमशः 'ए','ओ' और 'अर' हो जाते है। | नर + ईश=नरेश |
वृद्धि संधि | 'अ',या 'आ' के बाद 'ए' या 'ऐ' आए तो दोनों के मेल से 'ऐ' हो जाता है,तथा 'अ' और 'आ' के पश्चात 'ओ' या 'औ' आये तो दोनों के मेल से 'औ' हो जाता है। |
सदा + एव=सदैव |
यण संधि |
यदि 'इ', 'ई', 'उ', 'ऊ' और 'ऋ' के बाद भिन्न स्वर आये तो 'इ' और 'ई' का 'य', 'उ' और 'ऊ' का 'व' तथा 'ऋ' का 'र' हो जाता है। |
सु + अच्छ= स्वच्छ |
अयादि संधि |
यदि 'ए', 'ऐ', 'ओ', 'औ' स्वरों का मेल दूसरे स्वरों से हो तो 'ए' का 'अय', 'ऐ' का 'आय', 'ओ' का 'अव' तथा 'औ' का 'आव' के रूप में परिवर्तन होता है। |
ने + अन=नयन |
दो शब्दों के मिलने के कारण उनके वर्णों में परिवर्तन होता है। उसे क्या कहा जाता है -
Answer (Detailed Solution Below)
संधि सामान्य Question 15 Detailed Solution
Download Solution PDFदो शब्दों के मिलने के कारण उनके वर्णों में परिवर्तन होता है। उसे संधि कहा जाता है।
- दो शब्दों के मिलने के कारण उनके वर्णों में परिवर्तन होता है। उसे संधि कहा जाता है।
- दो शब्दों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है उसे संधि कहते हैं।
- संधि के तीन प्रकार हैं - 1. स्वर, 2. व्यंजन और 3. विसर्ग।
अन्य विकल्प:
उपसर्ग- वह शब्दांश जो किसी शब्द के पूर्व अथवा पहले लगकर उस शब्द का अर्थ बदल देते हैं अथवा उसमें नई विशेषता उत्पन्न कर देते हैं उपसर्ग कहलाते हैं. अथवा लघुत्तम सार्थक शब्द खंड जो अन्य शब्दों के आदि में जुड़ कर उनका अर्थ बदल देते हैं उपसर्ग कहलाते हैं। उदाहरण- प्रति + क्षण = प्रतिक्षण, सम् + गम = संगम।
प्रत्यय- प्रत्यय किसी भी सार्थक मूल शब्द के पश्चात् जोड़े जाने वाले वे अविकारी शब्दांश हैं, जो शब्द के अन्त में जुड़कर उसके अर्थ में या भाव में परिवर्तन कर देते हैं। उदाहरण- पढ़ + आई = पढ़ाई, सुंदर + ता = सुंदरता।
समास - समास उस प्रक्रिया को कहते हैं, जिसमें दो शब्द मिलाकर उनके बीच के संबंधसूचक आदि का लोप करके नया शब्द बनाया जाता है। समास से तात्पर्य 'संक्षिप्तीकरण' से है। समास के माध्यम से कम शब्दों में अधिक अर्थ प्रकट किया जाता है। उदाहरण- राजा का पुत्र – राजपुत्र, समास के छः प्रकार हैं - तत्पुरुष समास, बहुव्रीहि समास, कर्मधारय समास, द्विगु समास, अव्यययीभाव समास, द्वंद्व समास।